

आश्वासन के अलावा कोई राहत सम्रागी का वितरण नही
कुशीनगरजिले September 19, 2020 Times Todays News 0

डॉ ए एस विशेन/ प्रेम प्रकाश
कुशीनगर
डेढ माह पूर्व बड़ी गण्डक नदी के उफान के बाद खड्डा क्षेत्र के तटवर्ती गाव शाहपुर ,मरचहवा ,बसन्तपुर ,बालगोविन्द छपरा ,हरिहरपुर आदि में जहां बाढ़ की पानी से फसलों को नष्ट कर दिया है तो वही पानी उतरने से कटान के कारण किसानों की सैकड़ों एकड़ धान ,गन्ना व केला की फसल सहित खेत नदी में विलिन हो गयी। बाढ़ के बाद दियारा के गावों की हालात बद से बदत्तर है। जहा आधा दर्जन पुलें धंसने के साथ सड़के खण्डहर में तब्दिल हो गयी है। लोग आधा दर्जन के संख्या में जगह- जगह बास की चार्ली बनाकर साइकिल व बाइक से आवगमन के लिये बाध्य है। वही बाढ़ पिडितों को प्रशासन द्वारा कोई राहत सम्रागी का वितरण तो दूर जलजनित बिमारियों की रोकथाम का कोई व्यवस्था नही कर सकी है। जब पत्रकार ने नदी पार कर बाढ़ प्रभावित गावों का दौरा कर ग्रामीणों से हाल जानने का प्रयास किया तो लोगों ने बेबाकी से अपनी प्रतिक्रिया दी।
ग्राम सभा मरचहवा के उत्तर टोला निवासी उदयभान भारती ने कहा कि बाढ़ के दौरान पहुचे जनप्रतिनिधि व अधिकारियों द्वारा आश्वासन के अलावा कोई राहत सम्रागी की वितरण नही की गयी है। लोगों की हालत खराब हो गयी है। अब भुखमरी के कगार पर लोग खड़े हो गये है।
बसन्तपुर निवासी लालजी राय ने बताया कि इस क्षेत्र की फसलों को नष्ट होने के साथ पुल व सड़के ध्वस्त हो गयी है। इसका नवनिर्माण अतन्त जरुरी है।
बाल गोविन्द छपरा छपरा निवासी सुनील कुमार सैनी ने कहा कि नदी की पानी के घटने से लगातार खेत नदी में विलिन हो रही है। स्थानीय प्रशासन कटान रोकने के बजाय कटान रुकने की इन्तजार कर रह है।
शाहपुर निवासी विग्गू चौधरी ने बताया कि गांव से पानी हटने के बाद संक्रमण बिमारियों का प्रकोप लोगों के साथ पशुओं पर भी पड़ने लगा है। लेकिन स्वास्थ्य विभाग द्वारा अभी तक इस पर गम्भीर नही है। एक बार पशु विभाग की टीम आयी व तुरन्त फोटो खिचवाकर चली गयी।
इस सम्बन्ध में तहसीलदार खड्डा डा० सजीव कुमार राय ने बताया कि लेखपाल व सचिव को नुकशान की आकंलन करने का निर्देश दिये गये है। रिपोर्ट आते ही प्रशासनिक लाभ मिलना शुरु हो जायेगा।
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